वाइटहाउस में अमरीका और भारत के एक नए युग की शुरुआत
-नीति गोपेंद्र भट्ट-
अमरीका की नई उप राष्ट्रपति श्रीमती कमला हैरिस के मित्र और केलिफ़ोर्निया के पूर्व स्टेट वाटर कमिश्नर अनिवासी भारतीय अशोक भट्ट ने कहा है कि प्रेसिडेंट जो बाइडन और एक भारतवंशी महिला श्रीमती कमला हैरिस का वाइस प्रेजिडेंट के रूप में शपथ ग्रहण करने के साथ ही वाइट हाउस में अमरीका और भारत के एक नए युग की शुरुआत हो रही है।
भट्ट राष्ट्रपति बाइड़न और उप राष्ट्रपति कमला हैरिस के शपथ ग्रहण समारोह का हिस्सा बने।
उन्होंने कहा कि दुनिया की सबसे बड़ी महाशक्ति और विश्व के सबसे पुराने लोकतंत्र वाला देश माने जाने वाले सयुंक्त राष्ट्र अमरीका में आज नव निर्वाचित प्रेसिडेंट जो बाइडन के साथ एक भारतवंशी महिला श्रीमती कमला हैरिस का वाइस प्रेजिडेंट के रूप में शपथ ग्रहण करना एक गौरवपूर्ण क्षण है… वाशिंगटन डीसी की धरती भी गौरवान्वित है ।
भट्ट ने कहा कि राष्ट्रपति जो बाइडन ने नए अमेरिकी प्रशासन में भारतवंशियों को पर्याप्त प्रतिनिधित्व देकर एक शुभ सन्देश दिया है। उन्होंने कहा कि श्रीमती कमला हैरिस का वाइस प्रेजिडेंट के रूप में शपथ ग्रहण करने से आज हर भारतीय का सीना गर्व से चौड़ा हो रहा है। विशेष कर मेरे लिए यह सौभाग्य की बात है कि पिछले वर्ष जो भविष्यवाणी मैंने की थी…. वह आज सही साबित हो रही है।
भट्ट ने कहा कि विश्व के सबसे पुराने लोकतंत्र वाले देश में एक भारतवंशी महिला का दूसरे सर्वोच्य संवैधानिक पद पर आसीन होने से बड़ी और कोई बात नहीं हो सकती। मेरा विश्वास है कि भगवान ने चाहा तो एक दिन वह अमरीका के राष्ट्रपति पद को भी शोभायमान करेगी। उन्होंने बताया कि इस ऐतिहासिक क्षण की ऑन लाइन पर भारतीय रंगोली (कोलम) भी साक्षी बनी है।रंगोली को तमिलनाडु में कोलम कहा जाता है और घर के द्वार पर इसे बनाना शुभ माना जाता है । कमला हैरिस की मां मूल रूप से तमिलनाडु की रहने वाली थी। रंगोली के हज़ारों डिजाईन बनाने के लिए अमरीका और भारत के 1800 से अधिक लोगों ने ऑन लाइन पहल में हिस्सा लिया।
भट्ट ने बताया कि अमरीका की उप राष्ट्रपति श्रीमती कमला हैरिस से मेरे सम्बन्ध बहुत पुराने है । वे बहुत ही प्रतिभा संपन्न और स्वतंत्र विचारों वाले व्यक्तित्व की धनी है। उन्होंने बताया कि मेरा सौभाग्य रहा कि मैं प्रेसिडेंट बिल क्लिंटन के राष्ट्रपति काल में भारत आयें कई प्रतिनिमंडलों का सदस्य रहा हूँ । मैं वर्ष 1999 में प्रेसिडेंट क्लिंटन की अगुवाई में भारत आये प्रतिनिमंडल का हिस्सा रहा था और दिल्ली के अशोक होटल में तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा रसीले भारतीय आम के स्वाद के साथ दिए गए स्टेट लंच और दोनों देशों के मध्य हुईं ट्रेड ट्रीट्री का साक्षी भी रहा । इस ट्रेड ट्रीट्री के परिणाम स्वरुप अमरीका के व्यापार में अभिवृद्धि हुई तथा इसमें और अधिक खुलापन आया । इसी प्रकार हेनरी क्लिंटन के नेतृत्व में मदर टेरेसा के निधन पर भारत आये शिष्टमंडल में भी मुझे आने का अवसर मिला था । इन यात्राओं और विभिन्न द्वि-पक्षीय समझौतों से भारत और अमरीका के सम्बन्ध बहुत मजबूत हुए और प्रेसिडेंट बिल क्लिंटन के साथ ही प्रेसिडेंट बुश जूनियर, प्रेसिडेंटओबामा-बाइडन,प्रेसिडेंट ट्रम्प के वक्त भी दोनों देशों के संबंधों में उत्तरोत्तर बढ़ोतरी होती गई है और अब बाइडन-कमला हैरिस एवं इंडो अमेरिकन प्रशासन की नई टीम भी भारत अमरीका के संबंधों को और अधिक मजबूटी प्रदान करेगी और प्रगति के नए आयाम स्थापित होंगे । अब बाइडन-कमला हैरिस एवं इंडो अमेरिकन प्रशासन की नई टीम जिसमें कई भारतवंशी भी शामिल किए गए है के साथ भारत के सामने बेहतर अवसर मौजूद है।अब भारत सरकार को पहल कर आगे आना होगा।
भट्ट ने कहा कि मुझे विश्वास है कि भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकन प्रेसिडेंट बाइडन एवं वाइस प्रेसिडेंट कमला हैरिस के मध्य सौहार्दपूर्ण संबंधों को और अधिक बढ़ावा मिलेगा और दोनों देश आंतकवाद और कोविड-19 की समाप्ति के साथ ही दोनों देशों की अर्थ व्यवस्था को और सुदृढ़ बनाने, रोजगार को बढ़ावा देने तथा ट्रेड एवं कॉमर्स और अन्य द्वि पक्षीय मुद्दों पर आपसी सहयोग और समझ के साथ तेजी से आगे कदम बढ़ायेगें।