प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले 8 पोषणयुक्त उत्पाद खोजे

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नई दिल्ली। केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री डी.वी.सदानंद गौड़ा ने प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना (पीएमबीजेपी) के तहत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले 8 प्रकार के पोषणयुक्त उत्पाद जारी किए। इनकी बिक्री देशभर में जन औषधि केन्द्रों के माध्यम से की जाएगी। मंत्री गौड़ा ने कहा कि कोरोना-19 महामारी के मद्देनजर ऐसे पोषण युक्त उत्पादों को लाया जाना महत्वपूर्ण है। ये उत्पाद लोगों की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मदद करेंगे। उन्होंने कहा कि ये उत्पाद गुणवत्ता के मामले में ऐसे अन्य उत्पादों के बराबर है लेकिन कीमत के मामले में 26 प्रतिशत अधिक सस्ते हैं। जनऔषधि केंद्रों के विशाल नेटवर्क के माध्यम से ये प्रोटीनयुक्त उत्पाद बड़ी आबादी तक पहुंच सकेंगे।

उन्होंने कहा कि सरकार अब लोगों के समग्र स्वास्थ्य और पोषण की स्थिति में सुधार लाने के लिए कई पूरक आहार जैसे प्रोटीन सप्लीमेंट, माल्ट-आधारित पोषण पेय, प्रतिरक्षा बूस्टर आदि उपलब्ध करा रही है। उन्होंने कहा कि गुणवत्ता वाली सस्ती जेनेरिक दवाओं को खरीदने के लिए लगभग 65 मिलियन रोगी प्रति दिन 6500 से अधिक जनऔषधि केन्द्रों पर आते हैं। यह योजना उन रोगियों के लिए एक वरदान साबित हो रही है जो मधुमेह, रक्तचाप और मनोरोग जैसी पुरानी बीमारियां के लिए दवाएं ले रहे हैं।
मंत्री गौड़ा ने कहा कि प्रधानमंत्री ने अपने स्वतंत्रता दिवस के भाषण में महिलाओं के लिए मासिक धर्म के दौरान स्वच्छता और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सुविधा योजना के नाम से 1 रुपए प्रति पैड के हिसाब से सैनिटरी नैपकिन बेचने वाले जनौषधि केंद्रों का उल्लेख कर इन केन्द्रों के महत्व पर प्रकाश डाला था।

उन्होंने कहा था कि ये पैड ऑक्सो-बायोडिग्रेडेबल सामग्री से बनाए जाते हैं जिसके कारण न केवल सस्ते हैं बल्कि पर्यावरण के अनुकूल भी है। हालांकि इस योजना की शुरुआत 2008 में की गई थी लेकिन फिर भी मार्च 2016 के अंत तक केवल 99 स्टोर हो खुल पाए थे। ऐसे में 2017 में खरीद, रसद, आईटी और नए केन्द्र खोले जाने जैसे सभी पहलुओं पर प्रधानमंत्री मोदी के विजन के अनुरुप इस योजना को एक नया कलेवर दिया गया। वर्तमान में देश में ऐसे 6587 केंद्र हैं। कुल 734 में से 732 जिलों को इन केन्द्रों के दायरे में लाया जा चुका है।