प्रदेश अध्यक्ष पद की दौड़ में वीडी शर्मा आगे
भोपाल। भाजपा के संगठन चुनाव की प्रक्रिया के बीच नए प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव पर सबकी नजर टिक गई है। चुनाव पहली बार उम्र का बंधन रखा है। मंडल अध्यक्ष के लिए 40 वर्ष तक की सीमा निर्धारित है तो जिलाध्यक्ष के लिए 50 वर्ष तक की। अब प्रदेश अध्यक्ष के लिए अधिकतम आयु सीमा 60 साल तक निर्धारित की गई है। इस वजह से कई दावेदार अध्यक्ष पद की रेस से बाहर हो सकते हैं और मुकाबला राकेश सिंह और वीडी शर्मा के बीच हो सकता है। चूंकि शर्मा संघ के करीबी हैं, इसलिए उनका पलड़ा भारी है।
पार्टी नेतृत्व द्वारा तय उम्र के बंधन से पार्टी के अंदर हड़कंप के हालात है। इसकी वजह से 30 फीसदी से ज्यादा मंडलों में चुनाव नहीं हो सके हैं। जिलाध्यक्षों के चुनाव में भी यही स्थिति बनने वाली है। प्रदेश में इस इस बार पार्टी सत्ता से बाहर है। इसलिए हर नेता और गुट की नजर प्रदेश अध्यक्ष पद पर है। सभी इस पर कब्जा कर संगठन में अपना वर्चस्व स्थापित करना चाहते हैं। 60 साल की आयु सीमा कई प्रमुख दावेदारों की मंशा पर पानी फेर सकती है। उनका पत्ता कट सकता है। गौरतलब है कि अब तक संगठन चुनाव में उम्र की सीमा नहीं होती थी। इस वजह से दावेदारों को समस्या का सामना नहीं था।
- इनके बीच मुकाबला
पार्टी के कई दिग्गजों के बाहर होने के बाद प्रदेश अध्यक्ष के लिए मुकाबले में राकेश ङ्क्षसह बीडी शर्मा रह सकते हैं। राकेश ङ्क्षसह को पार्टी नेतृत्व का वरदहस्त है तो बीडी को संघ के नजदीक माना जाता है। संघ का दिलचस्पी के कारण ही बीडी को खजुराहों को लोकसभा का टिकट मिला था और वे सांसद बने। राकेश सिंह के नेतृत्व में चूंकि पार्टी विधानसभा का चुनाव हार कर सत्ता में बेदखल हुए हैं, इस कारण उनका दावा कुछ कमजोर है। पार्टी में उनके खिलाफ स्वर भी उभर रहे हैं। वरिष्ठ विधायक केदारनाथ शुक्ल उनके खिलाफ मैदान में आ गए थे। ऐसे में शर्मा को लाभ मिल सकता है। - मतदान की नौबत
पार्टी की कोशिश आम सहमति से ही चुनाव की है। हर स्तर पर ऐसा ही हो रहा है और जहा सहमति नहीं बन पा रही है वहां चुनाव टाले जा रहे हैं। लेकिन पार्टी नेताओं में खींचतान चल रही है। उसे देखकर प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए मतदान की नौबत आने की बात की जा रही है। दरअसल, इस बार शिवराज सिंह चौहान खेमा प्रदेश अध्यक्ष पद पर कब्जा चाहता है। - ये नेता बाहर
प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए इस बार पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज ङ्क्षसह चौहान के अलावा मौजूदा अध्यक्ष राकेश सिंह, राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय, पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा, भूपेन्द्र सिंह व रामपाल सिंह, राज्यसभा सदस्य प्रभात झा, सांसद वीरेंद्र खटीक एवं बीडी शर्मा प्रमुख दावेदान है। यदि इस पद के लिए 60 वर्ष की आयु सीमा पर अमल हुआ तो शिवराज सहित कैलाश विजयवर्गीय, प्रभात झा, नरोत्तम मिश्रा, वीरेंद्र खटीक, भूपेंद्र सिंह तथा रामपाल सिंह आदि अपने आप दौड़ से बाहर हो जाएंगे। मजेदार बात यह है कि बावजूद इसके कोई भी नेता अपनी दावेदारी वापस लेने के लिए तैयार नहीं है।